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स्टार्टअप्स के लिए बेहतरीन रहा 2019

फाइनेंशियल टेक्नोलॉजी में सर्वाधिक निवेश

बीता साल स्टार्टअप्स के लिए बेहतरीन रहा। इस दौरान निवेशकों ने विभिन्न स्टार्टअप कम्पनियों में निवेश किया|वेंचर डेट कंपनी इन्नोवेन कैपिटल की रिपोर्ट के अनुसार स्टार्टअप्स के लिए शुरुआती फंडिंग दोगुने से अधिक बढ़ गयी|बता दें कि पिछले साल 2018 में स्टार्टअप्स को 334 करोड़ रुपए की शुरुआती फंडिंग मिली थी।रिपोर्ट के अनुसार साल 2019 में जहां सौदे की संख्या 22 फीसदी बढ़ी वहीं सौदे के आकार में 70 फीसदी की बढ़ोतरी हुई।

14 अरब डॉलर हुआ निवेश:

आर्थिक सुस्ती और वैश्विक मंदी के बीच भारतीय स्टार्टअप कंपनियों का व्यवसाय 2019 में सकारात्मक रहा| रिसर्च और कन्सल्टिंग फर्म हेक्सजेन की रिपोर्ट के अनुसार भारतीय टेक स्टार्टअप्स में होने वाला निवेश 2019 में 18 फीसदी बढ़कर 14 अरब डॉलर (तकरीबन 99,400 करोड़ रुपए) तक पहुंच गया। सबसे ज्यादा निवेश दिल्ली-एनसीआर और बेंगलुरु में किया गया है। बीते साल भारत ने डील्स की संख्या और फंडिंग की वैल्यू में बेहतर प्रदर्शन किया है।इस दौरान ओयो, पेटीएम, ओला इलेक्ट्रिक, उड़ान, बाउंस और डेल्हीवेरी जैसी कंपनियों ने बड़ा निवेश जुटाया है। वैश्विक परिस्थितियों को देखते हुए भारत में स्टार्टअप्स के रुझान सकारात्मक कहे जा सकते हैं|काबिलेगौर है कि एशिया में स्टार्टअप्स डील में 27 फीसदी की गिरावट हुई है, जबकि भारत में यह गिरावट सिर्फ 15 फीसदी रही। जबकि फंडिंग के अनुसार देखें तो वैश्विक तौर पर इसमें 22 फीसदी तथा एशिया में 56 फीसदी की गिरावट आयी है| दूसरी ओर भारतीय स्टार्टअप्स को मिलने वाली फंडिंग में 18 फीसदी की वृद्धि हुई है।

फाइनेंशियल टेक्नोलॉजी में 4.1 अरब डॉलर का निवेश:

हेक्सजेन की ये रिपोर्ट 60 हजार डील्स और 10 लाख डाटा प्वाइंट्स का एनालिसिस करने के बाद तैयार हुई है। रिपोर्ट के अनुसार दिल्ली-एनसीआर ने फंडिंग में 7.4 अरब डॉलर जुटाए, जबकि बेंगलुरु आधारित स्टार्टअप्स ने 4.4 अरब डॉलर फंडिंग पाई। ई-कॉमर्स सेक्टर को 2.2 अरब डॉलर की फंडकंग मिली। ट्रांसपोर्टेशन और लॉजिस्टिक्स स्टार्टअप को 2.4 डॉलर की फंडिंग मिली जबकि फाइनेंशियल टेक्नोलॉजी कंपनियों ने 4.1 अरब डॉलर जुटाए।