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शेयर आधारित MUTUAL FUNDS में निवेश घटा

शेयर बाजार की अस्थिरता से बदला निवेशकों का रुझान

MUTUAL FUNDS निवेश के सबसे अधिक लोक्रिय माध्यमों में से एक माने जाते हैं|शेयर बाजार के जोखिम के विपरीत म्युचुअल फंड्स में निवेशित धनराशी को अधिक सुरक्षित माना जाता है| म्यूचुअल फंड में निवेशित राशि को विविधता के आधार पर फंड मैनेजर द्वारा निवेशित किया जाता है|शायद इसी कारण निवेशक म्युचुअल फंड को सुरक्षित विकल्प मानते हैं|हालांकि इन दिनों शेयर बाजार की अस्थिरता को देखते हुए निवेशकों के नजरिये में बड़ा बदलाव दिखाई दे रहा है|निवेशकों ने दिसंबर तिमाही में इक्विटी आधारित म्यूचुअल फंड योजनाओं से कुछ दूरी बना ली है|

इक्विटी आधारित योजनाओं में 50% गिरावट:

आर्थिक सुस्ती और शेयर बाजार की अस्थिरता का प्रतिकूल प्रभाव निवेशकों के रवैये पर नजर आने लगा है|अपनी पूँजी के जोखिम  को लेकर निवेशकों की चिंता अब उनकी निवेश योजना पर भी नजर आ रही है। शेयरों में निवेश से जुड़ी म्यूचुअल फंड योजनाओं में अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में पिछली तिमाही की तुलना में निवेश 50 प्रतिशत घटकर करीब 12,000 करोड़ रुपए रहा। मॉर्निंग स्टार की रिपोर्ट के अनुसार समीक्षावधि में शेयर बाजार से जुड़ी म्यूचुअल फंड योजनाओं का कुल निवेश 11,837 करोड़ रुपए रहा जो जुलाई-सितंबर तिमाही में 23,874 करोड़ रुपए था। इससे पहले अप्रैल-जून तिमाही में इस तरह की योजनाओं में निवेश 17,500 करोड़ रुपए था।

म्यूचुअल फंड योजनाओं का परिसंपत्तियों में इजाफ़ा:

दिसंबर तिमाही  दौरान इक्विटी फंड की सभी श्रेणियों में  कमी आयी| जिसमें बड़ी कंपनियों (लार्ज कैप), मझोली कंपनियों (एम कैप) छोटी कंपनियों (स्मॉल कैप) के शेयरों और लाभांश से जुड़ी योजनाएं शामिल हैं। इसके बावजूद भी दिसंबर में समाप्त तिमाही में ऐसी म्यूचुअल फंड योजनाओं का परिसंपत्ति आधार छह प्रतिशत बढ़कर 7.7 लाख करोड़ रुपए रहा। काबिलेगौर है कि शेयर बाजार से जुड़ी म्यूचुअल फंड योजनाओं में कुल निवेश का 30 प्रतिशत से अधिक हिस्सा सीधे बड़ी कंपनियों के शेयरों में निवेश किया गया। समीक्षावधि में इस श्रेणी की योजनाओं में 3,500 करोड़ रुपए निवेश किए गए|जबकि मझोली कंपनियों के शेयरों में इस दौरान 2,688 करोड़ रुपए और छोटी कंपनियों के शेयरों में 1,360 करोड़ रुपए निवेश किए गए।