30 सितंबर तक मौजूदा विदेश व्यापार नीति को यथावत रखने का निर्णय
मौजूदा विदेश व्यापार नीति में नहीं किया जायेगा अगले छह माह तक कोई बदलाव।
कोरोना वायरस संकट और तीन सप्ताह के देशव्यापी लॉकडाउन को देखते हुए सरकार ने मौजूदा विदेश व्यापार नीति (2015-20) की अवधि छह माह बढ़ाकर 30 सितंबर तक करने का निर्णय किया है। मौजूदा विदेश व्यापार नीति 31 मार्च 2020 को समाप्त होने वाली थी।
निर्यातकों के लिए कुछ खास कदम
वर्तमान में जो मौजूदा नीति के तहत योजनाएं चल रही हैं वह अब 30 सितंबर तक लागू रहेंगी। समाचार एजेंसियों के अनुसार विदेश व्यापार नीति से जुड़े अधिकारियों ने इसकी पुष्टि की है। साथ ही ये भी कहा जा रहा है कि भारतीय निर्यातकों के लिए कुछ और कदम भी उठाए जा सकते हैं। विदित हो कि चालू वित्त वर्ष में अप्रैल-फरवरी की अवधि में देश का कुल निर्यात 1.5 प्रतिशम घटकर 292.91 अरब डॉलर रहा।
- मौजूदा विदेश व्यापार नीति (2015-20) की अवधि छह माह बढ़ाकर 30 सितंबर तक करने का निर्णय।
- मौजूदा विदेश व्यापारी नीति 31 मार्च 2020 को समाप्त होने वाली थी।
- चालू वित्त वर्ष में देश का कुल निर्यात 1.5 प्रतिशम घटकर 292.91 अरब डॉलर रहा।
- चालू वित्त वर्ष में आयात भी 7.30 प्रतिशत गिरकर 436 अरब डॉलर रहा है।
- 11 महीनों में कुल व्यापार घाटा 143.12अरब डालर दर्ज हुआ है।
इस बीच वाणिज्य मंत्रालय अगली नीति (2020-25) के लिए सभी हितधारकों से बातचीत में लगा है, क्योंकि मौजूदा नीति का समय 31 मार्च 2020 को खत्म हो रहा है। वाणिज्य मंत्रालय के तहत आने वाला विदेश व्यापार महानिदेशालय (डीजीएफटी) नई नीति की रुपरेखा तैयार कर रहा है।
बता दें कि चालू वित्त वर्ष में आयात भी 7.30 प्रतिशत गिरकर 436 अरब डॉलर रहा है। इस प्रकार चालू वित्त वर्ष के 11 महीनों में व्यापार घाटा 143.12अरब डालर दर्ज हुआ है।