भारत में चांदी का दाम – सिल्वर प्राइस आज (28 February 2020) का
आज हम चांदी की बात करेंगे
भारत सिल्वर प्राइस (28 February 2020): हम अक्सर सोने की कीमतों की चर्चा करते हैं और सोने की चमक के आगे अक्सर चांदी फींकी रह जाती है|आज हम चांदी की बात करेंगे|
आम लोगों का मत है कि चांदी कि कीमतें भी सोने के कीमतों के साथ ही चढ़ती-उतरती है| हां! अक्सर ऐसा होता है, मगर हमेशा ऐसा हो यह जरुरी नहीं है| अगर आप भी ऐसा ही सोचते हैं तो बता दें कि, चांदी और सोना अलग अलग कारणों से अपनी कीमतों में उछाल या मंदी प्राप्त करते है|आज हम चांदी के स्रोत, उपयोग, पहचान, आयात, निर्यात और कीमतों को प्रभावित करने वाले कारकों की बात करते हैं|
आज (28 February 2020) भारत में 22 कैरेट चांदी के दाम |
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ग्राम | चांदी के दाम आज |
चांदी के दाम कल |
चांदीके दाम में दैनिक परिवर्तन
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1 ग्राम | ₹49.60 | ₹49.60 | ₹0 |
8 ग्राम | ₹396.80 | ₹396.80 | ₹0 |
10 ग्राम | ₹496 | ₹496 | ₹0 |
100 ग्राम | ₹4,960 | ₹4,960 | ₹0 |
1 किग्रा | ₹49,600 | ₹49,600 | ₹0 |
चांदी का उत्पादन
चांदी एक ऐसा धातु है, जो स्वतंत्र रूप और मिक्स रूप दोनों रूपों में पाया जाता है| जब यह मिक्स रूप में होता है तो यह अर्जेण्टाइट अयस्क से प्राप्त किया जाता है| इस अयस्क से जिस प्रक्रिया के द्वारा चांदी प्राप्त किया जाता है, उसे मैकआर्थर सायनाइड विधि कहते हैं| पृथ्वी पर चांदी की बहुत कम उपलब्धता की वजह से इसे एक बहुमूल्य धातु में गिना जाता है|
चांदी का भारत में उत्पादन
भारत अपनी आवश्यकता का बहुत ही कम मात्र चांदी का उत्पादन करता है| भारत के घरेलु स्तर से जो भी चांदी प्राप्त की जाती है, उसका उत्पादन कुछ सीमित क्षेत्रों में होता है| भारत के जिन सीमित क्षेत्रों में चांदी का जो उत्पादन होता है वे हैं- राजस्थान की जावर माइन्स, कर्नाटक का चित्रदुर्ग और बेल्लारी, आंध्रप्रदेश का गुंटूर, करनूल और कणप्पा, झारखंड का संथाल परगना और उत्तराखंड का अल्मोड़ा जिला|
आज चांदी के दाम – बड़े शहरों में |
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शहर | 10 ग्राम | 100 ग्राम | 1 किग्रा |
चेन्नई | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
मुंबई | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
नई दिल्ली | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
कोलकाता | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
बैंगलोर/बेंगलुरु | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
हैदराबाद | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
केरल | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
पुणे | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
बड़ौदा | ₹496 | ₹4,980 | ₹49600.00 |
अहमदाबाद | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
जयपुर | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
लखनऊ | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
कोयंबटूर | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
मदुरै | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
विजयवाड़ा | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
पटना | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
नागपुर | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
चंडीगढ़ | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
सूरत | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
भूवनेश्वर | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
मैंगलोर | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
विशाखापत्तनम | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
नासिक | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
मैसूर | ₹496 | ₹4,960 | ₹49600.00 |
भारत में चांदी का आयात
भारत अपनी चांदी की आवश्यकताओं की ज्यादातर पूर्ति आयात के माध्यम से ही पूरा करता है| भारत जिन देशों से मुख्यतः चांदी का आयात करता है वे देश हैं: बेल्जियम, इटली, जर्मनी आदि| हालांकि ये तीनों ही देश विश्व के टॉप तीन चांदी उत्पादक देशों में नहीं आते हैं| बताते चलें कि विश्व में सबसे ज्यादा चांदी का उत्पादन मैक्सिको में किया जाता है|
चांदी के उपयोग
- आभूषणों और सिक्कों के निर्माण में- भारत एक आभूषण प्रेमी देश है, या यूं कहें कि भारतीय संस्कृति का अभिन्न हिस्सा हैं आभूषण| भारत में आयात किए जाने वाले चांदी के एक बहुत बड़े भाग का इस्तेमाल आभूषण और सिक्को के निर्माण में किया जाता है| धनतेरस के साथ-साथ कई ऐसे अवसर आते हैं जब भारतीय शुभ संकेत के तौर पर चांदी के सिक्के गिफ्ट करते हैं|
- इलेक्ट्रॉनिक प्रोडक्ट में- चांदी विधुत का बहुत अच्छा सुचालक होता है, इसी लिए इसका इस्तेमाल बहुत सारे इलेक्ट्रॉनिक प्रोडक्ट को बनाने में किया जाता है|
- उच्च स्तर दर्पण बनाने में- चांदी में उच्च प्रकाश परावर्तन की क्षमता होती है, या यूं कहें कि सबसे ज्यादा होती है| चांदी के इसी गुण की वजह से इसका इस्तेमाल उच्च श्रेणी के दर्पणों के निर्माण में किया जाता है|
- दांतों को भरने के लिए- दांतों को ख़राब होने की स्थिति में या तो चांदी से फिलिंग की जाती है या नए चांदी के दांत लगाए जाते हैं|
- चांदी के वर्क- हम मिठाइयों पर चांदी के वर्क का इस्तेमाल होते अक्सर देखते हैं| ऐसा करने के पीछे कारण सिर्फ खूबसूरती बढ़ाना ही नहीं है| आपको यह बताते चलें कि चांदी के अंदर मौजूद औषधिय गुण भी इसका एक कारण हैं|
- दवाई बनाने में- चांदी का इस्तेमाल बहुत सारी दवाइयों के निर्माण में भी किया जाता है|
- बर्तन बनाने में- चांदी के बर्तन में खाना बहुत रॉयल माना जाता है, मगर साथ ही साथ यह स्वास्थ्य के लिए भी लाभदायक होता है| चांदी के बर्तन में खाना खाने से शरीर में मौजूद बहुत सारे कीटाणुओं का नाश हो जाता है|
- वैज्ञानिक कार्यों और सैटलाइट बनाने में- आयातित चांदी के बहुत बहुत बड़े भाग का प्रयोग वैज्ञानिक कार्यों में भी किया जाता है| आपकी जानकारी के लिए बता दें कि विधुत्त और ऊष्मा का अच्छा संचालक होने की वजह से चांदी का प्रयोग सैटलाइट निर्माण में भी किया जाता है|
- दूरबीन और सौर पैनल- चांदी की प्रकाश प्ररावर्तन की क्षमता काफी अच्छी होती है, इसी लिए इसका इस्तेमाल सौर पैनल और दूरबीन बनाने में भी किया जाता है|
चांदी की पहचान
ऐसे तो चांदी के पहचान के कई तरीके हैं मगर सर्वोत्तम तरीका जो माना जाता है वो ये है कि अगर आपको चांदी के नकली होने का शक हो तो किसी चुम्बक से इसकी जांच कर लें| असली चांदी में कोई भी चुंबकीय गुण नहीं होता है, अर्थात अगर आपका चांदी का आभूषण असली होगा तो वह चुम्बक को अपनी ओर आकर्षित नहीं करेगा|
सम्पूर्ण रूप से भारत में चांदी की कीमतों को प्राभावित करने वाले कारक हैं:
- वैश्विक कीमतें और डॉलर के मूल्य में उतार चढ़ाव- चूंकि भारत वृहत मात्रा में विदेशों से चांदी का आयात करता है और एक बड़ी वैश्विक अर्थव्यवस्था होने के नाते पूरे विश्व से जुड़ा हुआ है| इसलिए वैश्विक स्तर पर चांदी की कीमतों में वृद्धि या कमीं भारत में भी चांदी की कीमतों को प्राभावित करता है| साथ ही डॉलर में के मूल्य पर भी चांदी की कीमतें निर्भर करती हैं| विशेषतः भारत के लिए वैश्विक गतिविधियाँ काफी महत्त्व रखती हैं|
- घरेलु मांग- भारत में माध्यम और गरीब तबका अपने गहनों के शौक के लिए चांदी पर बहुत हद तक निर्भर रहता है| इसलिए डिमांड और सप्लाई के नियम के तहत चांदी की कीमतों में भी वृद्धि या कमीं होती है|
- भारत के पर्व त्योहार- भारत में त्योहार भारतीय अर्थव्यवस्था को प्रभावित करने वाले बड़े कारक साबित होते हैं| विशेषतः धन तेरस के मौकों पर चांदी के आभूषणों और सिक्कों की बहुत बिक्री होती है|
- शेयर बाज़ार में अविश्वास- सामान्यतया यह देखा जाता है कि जब भी शेयर बाज़ार में निवेशकों का विश्वास कम होता है, तब वे सेफ निवेश की तलास में सोने और चांदी की तरफ आकर्षित होते हैं|
- स्थाई निवेश- विगत समय से चांदी स्थाई निवेश के तौर पर भी अपनी विश्वसनीयता बना चूका है और लोग लंबे समय तक सुरक्षित निवेश के लिए चांदी के विकल्प को भी चुन रहे है|
सावधानी: चांदी की बर्तनों का प्रयोग खट्टे पदार्थों को रखने, गर्म करने और खाने के लिए नहीं करना चाहिए| यह विष के सामान होता है|